हर वर्ष मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को गीता जयंती मनाई जाती है। इस दिन मोक्षदा एकादशी भी मनाई जाती है। सनातन शास्त्रों में निहित है कि मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को जगत के पालनहार भगवान श्रीकृष्ण ने कुरुक्षेत्र की युद्ध भूमि पर अपने परम शिष्य अर्जुन को गीता उपदेश दिया था। इस दिन विधि-विधान से भगवान श्रीकृष्ण की पूजा-उपासना की जाती है। मंदिरों में गीता पूजा का आयोजन किया जाता है। आइए, शुभ मुहूर्त, पूजा विधि एवं महत्व जानते हैं-
कब मनाया जाता है ?
मार्गशीर्ष शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मनाया जाता है ।
क्यों मनाया जाता है ?
मार्गशीर्ष शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मोक्षदा एकादशी भी कहते हैं इस दिन भगवान कृष्ण ने कुरुक्षेत्र के मैदान में अर्जुन को गीता ज्ञान का उपदेश दिया था जो श्रीमद्भगवद्गीता के नाम से जाना जाता है इसी कारण संपूर्ण संसार में मार्गशीर्ष शुक्ल एकादशी तिथि को गीता जयन्ती मनाई जाती है। किसी भी देश, धर्म, सम्प्रदाय, भाषा तथा संपूर्ण साहित्य जगत में ऐसा कोई अन्य ग्रन्थ नहीं है जिसकी जयन्ती मनाई जाती हो। गीता भगवान की साक्षात् वाणी होने से उसकी जयन्ती सर्वत्र व्यापक रूप में मनाई जाती है।